शिमला। विश्व हिन्दू परिषद (विहिप) ने पश्चिम बंगाल में चुनाव के बाद शुरू हुई हिंसा के मामले में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से इस पर संज्ञान लेने तथा बंगाल में न्याय व्यवस्था स्थापित करने के लिए उचित कदम उठाने की सलाह देने का अनुरोध किया है।
राष्ट्रपति को लिखे एक पत्र में विश्व हिन्दू परिषद हिमाचल प्रांत अध्यक्ष लेखराज राणा ने आरोप लगाया है कि पश्चिमी बंगाल के चुनाव परिणामों के घोषित होने के साथ ही वहां पर सत्तारूढ़ दल टीएमसी के समर्थकों व जिहादियों ने जिस प्रकार हिंसा का तांडव किया है उससे पूरा देश चिंतित है। चुनाव महान भारत के लोकतंत्र का महापर्व है परंतु इस चुनाव के दौरान ही हिंसा की जिस प्रकार पटकथा लिखी गई थी वह भारतीय लोकतंत्र के इतिहास का एक काला पृष्ठ है।
विहिप का कहना है कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री सुश्री ममता बनर्जी ने चुनाव प्रचार में जो धमकियां दी थीं, चुनाव परिणाम आते ही उनके समर्थकों ने उनका पालन शुरू कर दिया। जिस प्रकार टीएमसी समर्थकों ने जिहादियों के साथ मिलकर निर्दोष लोगों की क्रूरता पूर्ण हत्या की ,घरों तथा दुकानों
को लूटा एवं जलाया, मंदिरों पर हमले किए गए, महिलाओं के साथ बर्बरता पूर्ण बलात्कार करके उनकी हत्याएं की गई उसके कारण संपूर्ण बंगाल भयाक्रांत हो गया है ।अनुसूचित जाति व जनजाति समाज के बंधु बहनों को विशेष रूप से निशाना बनाया गया है। हजारों लोग बेघर हो गए हैं और सुरक्षित स्थानों पर पलायन करने के लिए विवश हो गए हैं। दुर्भाग्यवश बंगाल का प्रशासन इस पाशविक हिंसा का या तो मूकदर्शक बना है या कहीं कहीं हिंसक तत्वों का सहायक बना हुआ भी
दिखाई देता है।
प्रांत अध्यक्ष लेखराज राणा ने कहा है कि ऐसा लगता है बंगाल में शासन व्यवस्था दंगाइयों की हाथ की कठपुतली बना हुआ है ।सुश्री ममता बनर्जी के पिछले दो शासनकाल में भी वहां का हिंदू समाज त्रस्त रहा है परंतु इस शासन काल का प्रारंभ जिस ढंग से हुआ है उससे पूरा देश यह समझ रहा है कि अगर इसी समय बंगाल के प्रशासन को नियंत्रित नहीं किया गया तो आगामी 5 साल में बंगाल का हिंदू समाज
एक अभिशप्त जीवन जीने के लिए विवश हो जाएगा। हो सकता है कुछ स्थानों पर हिंदू समाज आत्मरक्षा के लिए स्वयं कुछ उपाय करने पर मजबूर हो जाए। दोनों ही स्थितियां पूरे देश के लिए चिंता का विषय हैं ।
महामहिम ! ये सब विषय आपकी सजग दृष्टि से ओझल नहीं हो सकते ।
लेखराज राणा ने राष्ट्रपति से आग्रह किया है कि वह संविधानप्रदत्त अधिकारों का उपयोग करते हुए बंगाल में कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए सख्त आदेश दें जिससे बंगाल का हिंदू समाज शांतिपूर्वक जीवन यापन कर सके और बंगाल में न्याय व्यवस्था स्थापित हो सके। यह भी सुनिश्चित करवाएं कि अपराधी तत्वों को कठोरतम दंड मिले जिससे पीड़ितों को न्याय मिल सके।