करसोग। करसोग में किसानों को खुशहाल बनाने के लिए सरकार प्राकृतिक खेती की तकनीक को अपनाने पर जोर दे रही है। इसी कड़ी में यहां शनिवार को उपमंडल की चुराग पंचायत तहत एक दिवसीय कृषि शिविर लगाया गया। जिसमें किसानों को सुभाष पालेकर प्राकृतिक खेती के टिप्स दिए गए। इस दौरान कृषि विभाग विकासखंड करसोग के सहायक तकनीकी प्रबंधक सोनाली महाजन व मास्टर ट्रेनर कैप्टन नेतराम शर्मा ने किसानों को प्राकृतिक खेती से होने वाले फायदों के बारे में जानकारी दी। सोनाली महाजन ने किसानों को प्रेरित करते हुए कहा कि सुभाष पालेकर। प्राकृतिक खेती आय बढ़ाने की एक अच्छी तकनीक है। किसान घर पर उपलब्ध संसाधनों से घोल तैयार कर बहुत कम लागत में काफी अधिक मुनाफा कमा सकता है। इस बारे में किसानों को जानकारी देने के लिए करसोग की सभी 62 पंचायतों में प्रशिक्षण शिविर आयोजित किए जा रहे हैं। इसी का नतीजा है कि आज हजारों किसान रासायनिक खेती को छोड़कर सुभाष पालेकर प्राकृतिक खेतीं से जुड़े हैं। ऐसे में रासायनिक खेती की तुलना में किसानों की कृषि पैदावार लेने पर आने वाली लागत करीब 90 फीसदी तक घटी है। इस तकनीक को अपनाने से गुणवत्ता बढ़ने के साथ किसानों को कृषि उत्पादों का मूल्य भी अच्छा मिल रहा है। सुभाष पालेकर प्राकृतिक खेती के मास्टर ट्रेनर कैप्टन नेतराम शर्मा ने भी किसानों को प्राकृतिक खेती के फायदों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने किसानों को जीवामृत, घनजीवामृत, बीजामृत, अग्नि अस्त्र आदि तैयार करने की विधि भी बताई गई। उन्होंने कहा कि इस विधि से किसान घर पर उपलब्ध संसाधनों से आसानी के साथ घोल तैयार कर सकते हैं। इस शिविर में महिला मंडलों सहित युवक मंडल व जनप्रतिनिधि भी शामिल रहे।