शिमला। हिमाचल में ओल्ड पेंशन स्कीम (OPS) की बहाली की मांग को लेकर वीरवार को सैंकड़ों कर्मचारी विधानसभा के बाहर पहुंचे। इससे पहले NPS कर्मचारियों ने तीन जगह पुलिस द्वारा लगाए गए बैरिकेड तोड़े। इस दौरान कर्मचारियों पर हल्का बल प्रयोग भी किया गया है, लेकिन कर्मचारी नहीं रुके और विधानसभा के घेराव को पहुंच गए।
पुलिस ने कई जगह NPS कर्मचारियों को रोकने के लिए अपने वाहन भी सड़क के बीचो-बीच खड़े किए, लेकिन कर्मचारियों को नहीं रोक पाए। शिमला में जोरदार बारिश के बावजूद कर्मचारियों का धरना जारी रहा। यहां बारिश भी इनका होंसला नहीं तोड़ पाई। कर्मचारी OPS लागू करने पर अड़ गए है। पेंशन बहाल न होने की सूरत में कल भी इनका धरना जारी रहेगा।
NPS कर्मचारियों को रोकने के लिए तैनात पुलिस बल
सरकार के आला अधिकारी दिनभर कर्मचारियों को समझाने की कोशिश करते रहे, लेकिन कर्मचारी पुरानी पेंशन बहाल न होने तक हड़ताल स्थगित करने को तैयार नहीं है। इससे जयराम सरकार की मुश्किलें भी बढ़ती जा रही हैं। इनके प्रदर्शन के कारण विधानसभा के बाहर दिनभर तनावपूर्ण माहौल बना रहा।
9 दिन से पदयात्रा निकाल रहे कर्मचारी
OPS की बहाली के लिए NPS कर्मचारी गत 23 फरवरी से मंडी से शिमला के लिए पैदल मार्च निकाल रहे हैं। NPS कर्मचारी शिमला के टुटू पहुंचे। यहां से आज सुबह ही NPS कर्मचारी विधानसभा के लिए निकले। दोपहर बाद काफी संख्या में कर्मचारी विधानसभा पहुंच गए।
OPS बहाली के लिए सड़कों पर उतरे कर्मचारी,
सरकारी आदेशों की भी परवाह नहीं की
राज्य सरकार ने कर्मचारियों को धरने में शामिल न होने के निर्देश दे रखे हैं। इसे लेकर बुधवार शाम को भी आदेश जारी किए गए। इसमें कहा गया है कि कर्मचारियों को प्रदर्शन में शामिल होने के लिए छुट्टी न दी जाए। जो कर्मचारी प्रदर्शन में शामिल होते हैं, उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। कर्मचारियों ने इन आदेशों की भी परवाह नहीं की और पेंशन बहाली की मांग को लेकर विधानसभा पहुंच गए।
सदन के भीतर भी तपिश
सदन के भीतर भी OPS के मुद्दे पर तपिश देखने को मिली , क्योंकि सदन के भीतर कांग्रेस और माकपा भी सरकार पर OPS को बहाल करने के लिए दबाव डाल रही हैं। OPS बहाली की मांग को लेकर कांग्रेस और माकपा विधायक ने सदन से वॉ-आउट किया और विपक्ष के कुछ विधायक NPS कर्मचारियों के धरने में शामिल हो गए। नेता प्रतिपक्ष मुकेश अग्निहोत्री ने जयराम सरकार को कर्मचारी विरोधी बताया और कर्मचारियों को धरने के लिए मजबूर करने का आरोप लगाया। माकपा विधायक राकेश सिंघा ने कहा कि कर्मचारी अपना हक मांग रहे हैं।
बातचीत के लिए सरकार के दरवाजे खुले: CM
मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि उन्होंने कर्मचारियों से बातचीत के लिए मुख्य सचिव और शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज को भेजा था, लेकिन कर्मचारी इस बात पर अड़े हुए हैं कि मुख्यमंत्री खुद उनसे मिलने आएं, वह संभव नहीं है। उन्होंने कहा कि सरकार ने बातचीत के दरवाजे खुले रखे हुए है। कर्मचारी आएं और बातचीत करें। मुख्यमंत्री ने कर्मचारियों पर बल प्रयोग की बात को गलत बताया है। उन्होंने कहा कि सरकार ने पहले ही पेंशन बहाली के मुद्दे को लेकर मुख्य सचिव की अध्यक्षता में कमेटी गठित कर रखी है।
मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर कांग्रेस पर कर्मचारियों को भड़काने के आरोप लगा चुके हैं। कर्मचारियों के दबाव में सरकार ने मुख्य सचिव की अध्यक्षता में एक कमेटी गठित कर ली है। इस कमेटी को OPS के समाधान की जिम्मेदारी दी गई है।
शिमला पहुंची NPS कर्मचारियों की पदयात्रा,
कौन कर्मचारी कर रहे आंदोलन
हिमाचल में भी अन्य राज्यों की तर्ज पर 2002 के बाद भर्ती कर्मचारियों की पेंशन बंद है। इससे कर्मचारियों में सरकार के खिलाफ रोष व्याप्त है। कर्मचारियों ने OPS की बहाली के लिए मोर्चे का गठन कर रखा है। मोर्चा 9 दिन से पैदल मार्च निकाल रहा है। केवल आपातकालीन वाहनों को ही आने-जाने दिया जा रहा है।
शिमला हुआ जाम
NPS कर्मचारियों के धरने से आधा शिमला जाम हो गया है। ट्रैफिक जाम के कारण आम लोगों को भी कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। इससे शिमला में लगभग पांच घंटे लंबा ट्रैफिक जाम लगा रहा।