सरकैक ने समस्त अधिकारियों से भी अपने अपने कार्यालयों में तिरंगा फहराने को कहा। उन्होंने कहा कि खण्ड विकास अधिकारी और पंचायत सचिवों की सेवाएं भी हर घर तक तिरंगा उपलब्ध करवाने के लिये प्रयोग में लाई जाएंगी। हर घर तक तिरंगा पहुंचाने के अधिक इस बात को सुनिश्चित बनाया जाएगा कि प्रत्येक घर पर यह तिरंगा लहराए। तिरंगे का सम्मान सभी लोग करें। तिरंगा जमीन पर पड़ा हुआ नहीं होना चाहिए। निजी घरों में झण्डे को सांयकाल आधा झुकाने की आवश्यकता नहीं है। हालांकि सरकारी संस्थानों में तिरंगा सायंकाल आधा झुका होना चाहिए। 15 अगस्त के उपरांत भी तिरंगा इधर-उधर न पड़ा होना चाहिए। इसे घर में संभाल कर रखा जाए ताकि भविष्य में भी इसका उपयोग किया जा सके। उन्होंने कहा कि 13 अगस्त से 15 अगस्त तक शहरों व कस्बों में प्रभात फेरियों का आयोजन किया जाएगा। 15 अगस्त को सभी लोग स्वेच्छा से तिरंगा के नीचे खड़े होकर राष्ट्रीय गान गाकर इसका सम्मान कर सकते हैं।
उधर, हिमाचल प्रदेश की स्थापना का भी 75वां साल चला है और इसे प्रगतिशील हिमाचल के नाम से व्यापक पैमाने पर मनाया जाएगा। हिमाचल तब और अब थीम पर प्रदेशभर में 75 कार्यक्रम अलग अलग स्थानों पर होंगे। इसी कड़ी में कुल्लू जिला की सभी विधानसभाओं में एक-एक कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा। ये कार्यक्रम दशहरा मैदान कुल्लू, आलू गाउण्ड मनाली, मेला मैदान आनी व बंजार में आयोजित किये जाएंगे। इन समारोहों में मुख्यमंत्री, केन्द्रीय मंत्री व स्थानीय मंत्री भाग लेंगे। प्रत्येक समारोह में केन्द्र व राज्य सरकार की विभिन्न योजनाओं के 5000 से अधिक लाभार्थी भाग लेंगे।
प्रशांत सरकैक ने कहा कि प्रत्येक समारोह में उद्योग, स्वास्थ्य, उद्यान, कृषि, पर्यटन, लोक निर्माण, जल शक्ति, शिक्षा, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता तथा ऊर्जा विभागों की प्रदर्शनियां भी लगाई जाएंगी। हिमाचल में पिछले 50 से 75 सालों के दौरान हुई प्रगति का तुलनात्मक ब्यौरा प्रदर्शनियों के माध्यम से लोगों को प्राप्त होगा। इसके अलावा पर्यटन विभाग द्वारा जिला की इस यात्रा को दर्शाती प्रचार सामग्री भी प्रकाशित की जाएगी जिसे गांव गांव तक पहुंचाया जाएगा ताकि लोगों को विकास की इस लंबी यात्रा की जानकारी उपलब्ध हो सके।
बैठक की कार्यवाही का संचालन सहायक आयुक्त शशिपाल नेगी ने किया। बैठक में एसडीएम विकास शुक्ला सहित सभी विभागों के अधिकारी मौजूद रहे।