करसोग। हिमाचल में जिला मंडी के तहत करसोग में सरकारी तंत्र ने मुख्यमंत्री की घोषणा को ही ठेंगा दिखा दिया है। यहां स्वास्थ्य विभाग ने मुख्यमत्री के आदेशों पर उप तहसील पांगणा के अंतर्गत बही सरही में उप स्वास्थ्य केंद्र तो खोल दिया, लेकिन एक साल बीतने पर भी लोगों को स्वास्थ्य सेवाएं नहीं दी जा रही हैं। जबकि स्थानीय जनता ने उप स्वास्थ्य केंद्र खोलने को निशुल्क भवन की भी व्यवस्था की है। ऐसे में स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही से मजबूरन लोगों को इलाज के लिए 15 से 20 किलोमीटर दूर पांगणा में स्थिति सामुदायिक केंद्र का रुख करना पड़ रहा है। यहां तक कि नवजात बच्चों, गर्भवती महिलाओं व कोरोना के टीकाकरण के लिए भी लोगों को सीएचसी में बुलाया जाता है। इस बारे में ग्राम पंचायत बही सरही से कई बार प्रस्ताव पारित कर प्रशासन और सरकार को भेजे जा चुके हैं। लेकिन किसी भी मंच पर लोगों की सुनवाई नहीं हो रही है। स्थानीय ग्राम पंचायत प्रधान कमलेश कुमारी शर्मा ने विभाग की इस लापरवाही का मामला मुख्यमंत्री के समक्ष भी उठाया। जिस पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी मंडी को जांच के दिए गए और अब मामले की रिपोर्ट उच्चाधिकारियों को सौंपी गई है।
करसोग खंड चिकित्सा अधिकारी करमजीत सिंह का कहना है कि उप स्वास्थ्य केंद्र बही सरही में एक सप्ताह में स्वास्थ्य सुविधाएं देने का प्रयास किया जाएगा। इस बारे में जरूरी दिशा निर्देश जारी किए जा रहे हैं।